उत्तराखंड का एक शिक्षक जिसने 31 साल बाद हासिल किया अपना हक़

1989 में देहरादून के एक कॉलेज में कॉमर्स के शिक्षक के लिए बहाली निकली थी. इस नौकरी के लिए जेरॉल्ड जॉन चयन हुआ था लेकिन उन्हें इस आधार पर नौकरी नहीं दी कि उन्हें शॉर्टहैंड नहीं आती ​थी.

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